न्यूज नालंदा – उम्रकैद काट रहे कैदी की नि:संतान पत्नी बन सकेगी मां, जानें जज का फैसला ….
राज – 7903735887
पटना होईकोर्ट के जज राजीव रंजन अपने फैसले के कारण सुर्खियों में हैं। नि:संतान पत्नी की याचिका पर सुनवाई करते हुए जज ने वर्ष 2012 से सजा काट रहे, कैदी को बच्चा पैदा करने के लिए 15 दिन के पेरोल पर रिहा करने का आदेश सुनाया है। इसकी चर्चा देश भर में हो रही है। इसके पूर्व कैदी को परिजन के दाह संस्कार व शादी के लिए पेरोल मिलता रहा है। जानकारों की मानें तो यह बिहार में पहला फैसला है। जहां बच्चा पैदा करने के लिए कैदी को पेरोल दिया गया। मौलिक अधिकारों को ध्यान में रखकर न्यायाधीश ने फैसला सुनाया है। रहुई के उत्तरनावां गांव निवासी विक्की आनंद को प्रेमिका की हत्या के आरोप में 2012 में गिरफ्तार किया गया था। वह नि:संतान है। पत्नी रंजीता ने अधिवक्ता गणेश शर्मा के माध्यम से 2019 में बच्चा पैदा करने के लिए पति को पेरोल पर रिहा करने की याचिका दायर की थी। न्यायाधीश ने पत्नी की दलील सुनने के बाद यह फैसला सुनाया।
प्रेमिका को उतारा था मौत के घाट-
शादी के पूर्व से विक्की का प्रेम प्रसंग एक युवती था। शादी होने की भनक लगने पर प्रेमिका भी शादी की जिद करने लगी। जिसके बाद विक्की ने 2012 में जिंदा जलाकर उसे मार डाला। मौत से पहले इलाज के दौरान युवती ने विक्की पर जलाने का आरोप लगाया था। जिसके बाद उसे बिहार थाना पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। व्यवहार न्यायालय ने आरोपी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। विक्की ने शादी के छह माह बाद प्रेमिका की हत्या की। उसकी पत्नी को बच्चा नहीं था।